विद्यापतिनगर (समस्तीपुर): प्रखंड अंतर्गत प्राथमिक विद्यालय कबीर स्थान शेरपुर में कार्यरत बीपीएससी शिक्षिका सुहानी और प्रभारी प्रधानाध्यापक प्रेम कुमार झा को जिला स्थापना कार्यालय के निर्देश पर तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया गया है। निलंबन के दौरान दोनों शिक्षकों को क्रमशः खानपुर और मोहनपुर बीईओ कार्यालय में योगदान देने का निर्देश दिया गया है।
क्या है मामला?
प्रभारी प्रधानाध्यापक प्रेम कुमार झा पर आरोप है कि उन्होंने शिक्षिका सुहानी की ई-शिक्षा कोष पर उपस्थिति दर्ज करने में हेरफेर किया और विभागीय जांच में संतोषजनक स्पष्टीकरण नहीं दिया।
शिक्षिका सुहानी, जो कि उत्तर प्रदेश की मूल निवासी हैं, को 19 से 30 नवंबर 2024 तक प्राथमिक विद्यालय कष्टहारा (मुसहर टोला) में प्रतिनियुक्त किया गया था। लेकिन न तो वह प्रतिनियुक्त विद्यालय में उपस्थित थीं और न ही अपने मूल विद्यालय में, इसके बावजूद उनकी उपस्थिति दर्ज होती रही।
विभागीय कार्रवाई और अनियमितता का खुलासा:
जांच के दौरान यह स्पष्ट हुआ कि शिक्षिका सुहानी स्कूल नहीं आ रही थीं, बल्कि अपने घर पर थीं, जबकि बीआरसी की मिलीभगत से उनकी उपस्थिति ऑनलाइन दर्ज की जा रही थी।
गौरतलब है कि ई-शिक्षा कोष प्रणाली के तहत सभी शिक्षकों को ऑनलाइन उपस्थिति दर्ज करनी होती है, जिसमें विद्यालय से 500 मीटर के दायरे में रहते हुए सेल्फी अपलोड करना अनिवार्य है। लेकिन शिक्षिका की उपस्थिति उनके विद्यालय में नहीं रहने के बावजूद दर्ज की जा रही थी, जिससे सिस्टम पर गंभीर सवाल खड़े हो गए हैं।
प्रधानाध्यापक का पक्ष:
प्रेम कुमार झा ने सफाई देते हुए कहा कि उन्होंने विभागीय आदेश के तहत शिक्षिका सुहानी को उनके मूल विद्यालय से कार्यमुक्त कर दिया था और जांच के दौरान अपना स्पष्टीकरण भी बीआरसी को सौंप दिया था। बावजूद इसके उन्हें निलंबित किया गया, जिससे वे खुद को अन्याय का शिकार मान रहे हैं।
शिक्षा विभाग में हड़कंप, होगी विस्तृत जांच:
इस घटना के सामने आने के बाद शिक्षा विभाग और बीआरसी के कुछ अधिकारियों की भूमिका पर भी सवाल उठ रहे हैं। विभाग ने अलग से “प्रपत्र-क” का गठन कर विस्तृत जांच करने की बात कही है।
सूत्रों के अनुसार, इस कार्रवाई से प्रखंड के शिक्षा माफियाओं में हड़कंप मचा हुआ है, क्योंकि यह मामला बड़े पैमाने पर हो रही अनियमितताओं की ओर इशारा करता है।