जयपुर, केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने रविवार को अपने जयपुर दौरे के दौरान स्पष्ट संकेत दिया कि राजस्थान में अगला विधानसभा चुनाव प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में होगा। कार्यसमिति में राजस्थान भाजपा के नेताओं से बात करते हुए उन्होंने कहा कि मिशन 2023 के लिए सभी को एकजुट होकर पीएम मोदी के नेतृत्व में चुनाव की तैयारी शुरू करनी चाहिए।
जनप्रतिनिधि सम्मेलन को संबोधित करते हुए शाह ने सभी कार्यकर्ताओं से अशोक गहलोत के नेतृत्व वाली राजस्थान सरकार को उखाड़ फेंकने के लिए काम करने का आह्वान किया, जिसे उन्होंने ‘भ्रष्ट और बेकार’ करार दिया।
कांग्रेस पर निशाना साधते हुए उन्होंने कहा, “70 के दशक में, ‘गरीबी हटाओ’ का नारा लगाया गया था। हालांकि, कांग्रेस ने गरीबी दूर करने के लिए काम नहीं किया। यहां तक कि जब पीएम मोदी (सत्ता में) आए, करोड़ों घरों में बिजली की कमी थी, चूल्हा नहीं जला और फिर शौचालय की कोई व्यवस्था नहीं थी।”
उन्होंने कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी पर भी तंज कसते हुए कहा, “राहुल गांधी काम करें या न करें, कम से कम वह ट्वीट तो करते हैं।”
राजस्थान में पेट्रोल और डीजल की कीमत पर शाह ने कहा, “पीएम मोदी ने पूरे देश में पेट्रोल और डीजल के करों को कम कर दिया है, लेकिन राजस्थान एक ऐसा राज्य है जहां सीएम को ‘लॉकर’ पसंद है। मैं अशोक गहलोत से कीमत कम करने का अनुरोध करता हूं।”
भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के वरिष्ठ नेता ने यह भी कहा, “गहलोत इस डर में बने हुए हैं कि उनकी सरकार गिर जाएगी।”
उन्होंने कहा कि भाजपा कांग्रेस की सरकार नहीं गिराएगी, बल्कि 2023 के चुनाव में प्रचंड बहुमत के साथ उनकी सरकार बनाएगी।
कार्यक्रम के दौरान जब कार्यसमिति में अमित शाह के स्वागत के लिए राजस्थान की पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे के नाम की घोषणा की गई तो गृह मंत्री ने बीच-बचाव करते हुए पूछा कि “कितनी बार स्वागत करेंगे।” राजनीतिक गलियारों में इस प्रकरण की काफी चर्चा हो रही है।
कार्यसमिति की बैठक में अपने संबोधन के दौरान शाह ने यह भी कहा, “व्यक्ति संगठन नहीं है। सभी को इस मूल तथ्य को समझना होगा।”
हालांकि बाद में वसुंधरा ने जन प्रतिनिधियों के सम्मेलन में अमित शाह का स्वागत किया।
इसके बाद वसुंधरा ने अपने संबोधन में कहा कि यह मेरा सौभाग्य है कि मुझे गृह मंत्री के स्वागत का मौका मिला।
उन्होंने अमित शाह को ‘भाई साहब’ कहकर संबोधित किया और केंद्र सरकार के काम की तारीफ की।
शाह को जयपुर में 9 किमी लंबे रोड शो में भी भाग लेना था, लेकिन जयपुर पहुंचने में देरी के कारण, उन्होंने सड़क पर ज्यादा समय नहीं बिताया और सीधे जेईसीसी कन्वेंशन सेंटर चले गए।
केंद्रीय मंत्री के राज्य के 10 प्रमुख भाजपा नेताओं के साथ आमने-सामने बैठक करने की भी उम्मीद है।