नई दिल्ली, सर्वोच्च न्यायालय ने मंगलवार को कहा कि राष्ट्रीय उपभोक्ता विवाद निवारण आयोग (एनसीडीआरसी) सशर्त रोक के लिए राज्य आयोग को निर्धारित पूरी राशि या 50 प्रतिशत से अधिक जमा करने का निर्देश दे सकता है। जस्टिस एमआर शाह और बी.वी. नागरत्ना की पीठ ने कहा, “उपभोक्ता संरक्षण अधिनियम, 2019 की धारा 51 के दूसरे प्रावधान के तहत राज्य आयोग द्वारा आदेशित राशि का 50 प्रतिशत पूर्व जमा करना राष्ट्रीय आयोग की अपील पर अमल के लिए अनिवार्य है।”
पीठ ने बताया कि पूर्व-जमा की स्थिति का उद्देश्य तुच्छ अपीलों से बचना है।
शीर्ष अदालत का फैसला उपभोक्ता संरक्षण अधिनियम 2019 की धारा 51 की व्याख्या से जुड़े एक मामले में आया, जो एनसीडीआरसी के समक्ष अपील दायर करने के लिए पूर्व जमा निर्धारित करता है।