बुरे काम का नतीजा अकसर बुरा ही होता है. चाहे कोई बचने की लाख कोशिस कर ले लेकिन एक ना एक दिन उसे किए की सजा जरूर मिलती है, लेकिन आज के समय के लोगो को ऐसा लगता है की पैसे से सब कुछ किया जा सकता है. पैसो से गुनाह कराया भी जा सकता है और गुनाह को छुपाया भी जा सकता है. लेकिन ऐसा बिकुल नहीं है. कानून आज के समय में भी जिंदा है.भले ही कोई कानून से छिपने की कितनी भी कोशिस कर ले लेकिन कोई भी नहीं बच नहीं सकता चाहे वो कोई अरबपति हो या कोई भिकारी कानून सबके लिए सम्मन है. ऐसी ही कहानी समने आई है जहां यूपी के छोटे से शहर से गुरुग्राम का आया एक मासूम सा शख्स इतना खूंखार बन गया कि उसने एक नहीं, दो नहीं पूरी 9 मासूम बच्चियों के साथ पहले रेप किया फिर पटक-पटक कर मारडाला। कोर्ट ने इस हैवान को अब फांसी सजा सुना दी है। 9 मासूम बच्चियों की रेप के बाद हत्या करने के दोषी यूपी महुआ निवासी सुनील को कोर्ट ने बुधवार को फांसी की सजा सुनाई। सेक्टर-65 थाने में 12 नवंबर 2018 को साढ़े 3 साल की बच्ची की हत्या व पॉक्सो एक्ट के केस में एडिशनल सेशन जज शशि चौहान की कोर्ट ने ये सजा दी है। कोर्ट ने दोषी पर 25 हजार रुपये जुर्माना भी लगाया है। साथ ही बच्ची के परिवार को 10 लाख रुपये की आर्थिक सहायता देने के भी कोर्ट ने आदेश दिए हैं। सेक्टर-65 थाने में ये एफआईआर 12 नवंबर 2018 को हत्या व पॉक्सो एक्ट की धारा में दर्ज हुई थी।
पटक-पटक कर ले ली बच्ची की जान
11 नवंबर 2018 वो था जब इस हैवान एक मासूम को बड़ी बेदर्दी से रेप के बाद मौत के घाट उतारा। हैवान गुरुग्राम सेक्टर-65 थाना एरिया में झुग्गियों में रहने वाले सुनील पास में खेल रही तीन बच्चियों के पास गया और उन्हें 10 रुपये का नोट दिखाकर अपने साथ दुकान पर चलने को कहने लगा। दो बच्चियां नहीं गईं लेकिन साढ़े 3 साल की एक बच्ची चली गई थी। जिसके बाद दोषी ने सेक्टर-66 एरिया में बच्ची को लेकर जाकर रेप के बाद उसकी हत्या कर दी। सुनील भी अपनी झुग्गी से फरार हो गया था। 12 नवंबर 2018 को बच्ची का शव सेक्टर-66 एरिया में पड़ा मिला था। बच्ची के माता-पिता वेस्ट बंगाल के मूल निवासी थे। पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट में सामने आया कि आरोपी ने मासूम बच्ची के साथ दरिंदगी की थी। बच्ची को पटक-पटक कर उसने मार दिया था। सिर पर ईंट व पत्थर से भी वार किए गए थे। पुलिस की ओर से केस में सुनील पर 2 लाख रुपये का इनाम घोषित किया गया था। एसआईटी ने कार्रवाई करते हुए आरोपी सुनील को 19 नवंबर 2018 को अरेस्ट कर लिया था।
9 बच्चियों को रेप के बाद उतारा मौत के घाट
20 नवंबर 2018 को उसे कोर्ट में पेश कर रिमांड पर लिया गया। पूछताछ में पता चला कि उसने सिर्फ यही नहीं बल्कि 9 बच्चियों को इस तरह रेप के बाद मौत के घाट उतारा था। आरोपी ने सिर्फ एक ही लड़की को रेप के बाद जिंदा छोड़ा था। वह सिकंदरपुर के पास का मामला था। यह वारदात 15 जून 2013 को सिकंदरपुर के पास हुई थी। डीएलएफ इलाके में आयोजित भंडारे में गई 5 साल की बच्ची से रेप हुआ था। सिकंदरपुर मेट्रो स्टेशन के पास मेट्रो पिलर संख्या 47-48 के बीच बच्ची लहूलुहान हालत में मिली थी। उसे बेहद नाजुक हालत में दिल्ली के सफदरजंग अस्पताल रेफर किया गया था। बच्ची के साथ बर्बरता से रेप किया गया था।
बुधवार को कोर्ट ने सुनील को दी फांसी की सजा
DLF फेज-1 थाना पुलिस ने FIR दर्ज कर जांच शुरू की, लेकिन केस में कोई सुराग हाथ नहीं लगा जिस पर 2014 में अनट्रेस रिपोर्ट पुलिस ने कोर्ट में दायर कर दी थी। फरवरी 2018 में फोर्टिस हॉस्पिटल में बच्ची के प्राइवेट पार्ट की 13वीं बार सर्जरी हुई थी। आरोपी सुनील के खिलाफ 15 दिसंबर 2018 को कोर्ट में चालान पेश किया गया। सीसीटीवी फुटेज के अलावा अन्य साइंटिफिक व फरेंसिक पुख्ता सबूत कोर्ट में पेश किए गए। पुख्ता सबूतों व गवाहों के आधार पर बुधवार को कोर्ट ने दोषी सुनील को फांसी की सजा दी है।
दिल दहला देने वाली है कहानी
पुलिस ने सुनील पर दिल्ली, गुरुग्राम, ग्वालियर और झांसी में 8 मासूम बच्चियों के खिलाफ जघन्य अपराध का शक जाहिर किया था। पहली पीड़िता चार साल की बच्ची थी जिसे 2016 में गुरुग्राम के एक मंदिर से अगवा कर लिया गया था। उसका शव उसी साल 27 नवंबर को सोहना रोड पर ओमेक्स मॉल के पीछे झाड़ियों में मिला था। सुनील ने दो महीने बाद फिर से गुरुग्राम में एक 5 साल की बच्ची को अपना शिकार बनाया था। जिसका क्षत-विक्षत शरीर उसके लापता होने के 20 दिन बाद मिला था। हाल ही में हुई घटना की तरह दोनों पीड़ितों के सिर और पैर में चोटें आई थीं।