यह घटना शुक्रवार को चामराजनगर जिले के हेगगोटोरा गांव में हुई। जहां लिंगायत समुदाय के लोग कथित रूप से दलित महिला के सार्वजनिक टैंक से पानी पीने को लेकर भड़क गये थे। कर्नाटक के चामराजनगर जिले में कुछ ऊंजी जाति के ग्रामीणों दरा कथित रूप से एक दलित महिला के सार्वजनिक टैंक से पीने के पानी को निकालने के बाद टैंक को गोमूत्र से शुद्ध किया गया। कर्नाटक पुलिस ने इस संबंध में मामला दर्ज किया है। पुलिस के मताबिक यह घटना शुक्रवार को हेगगोटोरा गांव में हुई जहां लिंगायत समुदाय के लोग कथित तौर पर दलित महिला की हरकत से भड़क गये थे। घटना का एक वीडियो वायरल हो गया, जिसकी काफी आलोचना हो रही थी। घटना के बाद चामराजनगर ग्राामीण पुलिस ने अनुसूचित जन जाति संशोधन अधिनियम के तहत मामला दर्ज किया है।
कर्नाटक पुलिस ने इस संबंध में मामला दर्ज किया है। पुलिस के मुताबिक यह घटना शुक्रवार को हेगगोटोरा गांव में हुई, जहां लिंगायत समुदाय के लोग कथित तौर पर दलित महिला की हरकत से भड़क गये थे। घटना का एक वीडियो वायरल हो गया, जिसकी काफी आलोचना हो रही थी। घटना के बाद चामराजनगर ग्रामीण पुलिस ने अनुसूचित जाति/अनुसूचित जनजाति (अत्याचार निवारण) संशोधन अधिनियम 2015 के तहत मामला दर्ज हुआ है।
क्या है पूरा मामला ?
एक ग्रामीण द्वारा दर्ज कराई शिकायत के मुताबिक एक दलित महिला शिवम्मा हेग्गटोरा गांव में एक शादी में शामिल होने आई थी। दोपहर के करीब एक बजे वह पानी पीने के लिए कृष्ण देव राय मंदिर के पास एक टैंक के करीब गई। गांव के लिंगायत नेता महादेवप्पा ने कथित तौर पर यह कहकर गाली दी कि वह निचली जाति की है और उसे टैंक से नहीं पीना चाहिए थे। चामराजनगर जिले के प्रभारी मंत्री वी सोमन्ना ने कहा कि वह इस तरह के भेदभाव को बर्दाश्त नहीं करेंेगे और अधिकारियों को कड़ी कार्रवाई करने का निर्देश दिया।
गांव के 20 दलितों को पिलाया गया सार्वजनिक नलों से पानी
मामले का वीडिटो वायरल होने के बाद दलित महिला के साथ हुई इस हरकत की खूब आलोचना होने लगी। इसके बाद रविवार को समाज कल्याण विभाग के अधिकारियों ने गांव का दौरा किया और गांव के करीब २० दलित लोगों को क्षेत्र के सभी सार्वजनिक नलों में पानी पीने के लिए ले गये। तहसीलदार आई ई बसवराजू ने भी ग्रामीणों से मामले पर चर्चा की और मामला शांत कराने का प्रयास किया। हेग्गटोरा बदनवायु इलाके से 19 किमी दूर है, जहां कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने अपनी भारत जोड़ो यात्रा के दौरान दौरा किया था। इस मामले के बाद कर्नाटक पुलिस ने अनुसूचित जाति अनुसूचित जनजाति संशोधन अधिनियम 2015 की धारा के तहत मामला दर्ज किया है।