ज्ञानवापी मामले में हिंदू पक्ष की बड़ी जीत, जिला अदालत ने तहखाने में दी पूजा-पाठ की इजाजत

0
131
Spread the love

Gyanvapi Case : 1993 से यहां पर पूजा-पाठ बंद था, फैसले के बाद हिंदू पक्ष के वकील विष्णु शंकर जैन ने कहा कि अब वहां पर नियमित रूप से पूजा-पाठ शुरू किया जाएगा

Gyanvapi Case News : वाराणसी में ज्ञानवापी तहखाने में पूजा-पाठ होगा। जिला न्यायालय ने आदेश दिया है। हिंदू पक्ष को पूजा का अधिकार मिल गया है। हिंदू पक्ष के वकील विष्णु शंकर जैन ने कहा कि व्यास जी के तहखाने में इजाजत की इजाजत मिली है। व्यास परिवार अब तहखाने में पूजा पाठ करेगा। हिंदू पक्ष ने व्यास जी के तहखाने में पूजा पाठ की इजाजत मांगी थी। सोमनाथ व्यास का परिवार 1993 तक तहखाने में पूजा पाठ  करता था। 1993 के बाद तत्कालीन राज्य सरकार के आदेश पर तहखाने में पूजा बंद हो गई थी। 17 जनवरी को व्यास जी के तहखाने को जिला प्रशासन ने कब्जे में लिया था। एएसआई सर्वे कार्रवाई के दौरान तहखाने की साफ-सफाई हुई थी। काशी विश्वनाथ ट्रस्ट के अधीन तहखाने में पूजा की जाएगी। ज्ञानवापी परिसर स्थित व्यास जी के तहखाने में पूजा पाठ कराने का कार्य काशी विश्वनाथ ट्रस्ट करेगा।

 

क्या बोले हिंदू पक्ष के वकील?

 

एक बातचीत में विष्णु शंकर जैन ने कहा कि वहां पर नियमित रूप से पूजा पाठ की जाएगी। उन्होंने विक्ट्री साइन दिखाया। वादी अधिवक्ता सुभाष नंदन चतुर्वेदी ने कहा कि आज फैसला हमारे पक्ष में रहा, जो पूजा-पाठ 1993 में बंद हो गया था उसको बहाल करने के लिए हम लोगों की जो मांग थी उसे कोर्ट ने स्वीकार कर लिया है। पूजा-पाठ अब रोज शुरू होगा। हिंदू पक्ष द्वारा एक और प्रार्थना पत्र पर आज वाराणसी जिला न्यायालय ने आदेश देते हुए ज्ञानवापी परिसर स्थित व्यास जी के तहखाने में पूजा-पाठ की व्यवस्था तय करने का निर्देश दिया।

 

इलाहाबाद हाई कोर्ट ने जारी किया नोटिस

उधर इलाहाबाद हाई कोर्ट ने राखी सिंह की पुनरीक्षण याचिका पर ज्ञानवापी मस्जिद की अंजुमन इंतेजामिया मस्जिद कमेटी को बुधवार को नोटिस जारी किया। वादी राखी सिंह ने वाराणसी की अदालत द्वारा 21 अक्टूबर 2023 को सुनाये गये उस फैसले को चुनौती दी थी, जिसमें उसने ज्ञानवापी मस्जिद परिसर के भीतर कथित शिवलिंग को छोड़कर वुजूखाना का भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण (एएसआई) से सर्वेक्षण कराने का निर्देश देने से मना कर दिया था।

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here