Tag: kisan andolan

  • सिंघु बॉर्डर पर किसानों की अहम बैठक, हो सकता है कोई बड़ा फैसला

    सिंघु बॉर्डर पर किसानों की अहम बैठक, हो सकता है कोई बड़ा फैसला

    नई दिल्ली, कृषि कानून के खिलाफ चल रहे प्रदर्शन के बीच सिंघु बॉर्डर पर आज एक महत्वपूर्ण बैठक है, जिसको लेकर सभी किसान नेता पहुंच चुके हैं। इस बैठक में आगे की रणनीति के अलावा इस बात पर भी विचार विमर्श किया जाएगा कि आंदोलन को अब कैसे खत्म करना है। इसके अलावा किसानों की ओर से यह साफ कर दिया है कि, प्रधानमंत्री को अपनी मांगो के साथ लिखे गए पत्र का अभी भी इंतजार कर रहें हैं जिसमें उन्होंने 6 मांगे रखी हुई है। इसके अलावा किसान अपने 5 प्रतिनिधियों के नाम भी सामने रखेगी, जो केंद्र सरकार द्वारा मांगे गए हैं।

    आज के बैठक से आज कुछ बड़े फैसले लिये जाने की उम्मीद लगाई जा रही है। दरअसल किसान इस बात की मांग कर रहें हैं कि किसानों पर दर्ज मुकदमे वापस लिए जाएं, मृतक किसानों को मुआवजा मिले, एमएसपी पर कानून बनाया जाए आदि।

    भारतीय किसान यूनियन के उत्तरप्रदेश अध्यक्ष राजवीर सिंह जादौन ने बताया , “बैठक शुरू हो गई और इसपर हम अपने मुद्दों पर और अन्य किसान नेताओं के साथ आगे की रणनीति तय करेंगे। हमें अभी भी प्रधानमंत्री की ओर से जवाब का इंतजार है।”

    दरअसल कृषि कानूनों को वापस लिया जा चुका है लेकिन किसान अब एमएसपी की गारंटी की मांग कर रहें है। इसके अलावा उन्होंने अपनी अन्य मांगों को भी जोड़ दिया है।

    हालांकि इस बीच इस बात की भी अफवाहों ने जोर पकड़ा था कि कुछ किसान संगठन घर वापस जाना चाहते है क्योंकि कानूनों की वापसी हो गई है। लेकिन संयुक्त किसान मोर्चा की ओर से इस बात को हमेशा नकारा गया है।

  • किसानों की घर वापसी ?

    किसानों की घर वापसी ?

    तीनों कृषि कानूनों के वापस होने पर अब किसान भी अपने घर लौटने लगे हैं। जिसको लेकर द न्यूज 15 की टीम दिल्ली बॉर्डर पर पहुंची। और वहां से किसानों की आगे की रणनीति पर चर्चा की। किसानों की घर वापसी

  • कंगना रनौत ने किसानों से मांगी माफी

    कंगना रनौत ने किसानों से मांगी माफी

    अक्सर विवादों में रहने वाली बॉलीवुड अभिनेत्री कंगना रनौत के काफिले का पंजाब में घेराव हुआ है. जानकारी के मुताबिक किसान प्रदर्शनकारियों ने कंगना के काफिले को रोक लिया और उनसे मांफी मांगने की मांग करने लगे. कृषि कानूनों की वापसी को लेकर आंदोलन कर रहे किसानों के खिलाफ अभिनेत्री ने बयान दिया था

  • केंद्र के पास प्रदर्शन में मारे गए किसानों का आंकड़ा नहीं, तो गलती कैसे मानी : राहुल गांधी

    केंद्र के पास प्रदर्शन में मारे गए किसानों का आंकड़ा नहीं, तो गलती कैसे मानी : राहुल गांधी

    नई दिल्ली, कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने केंद्र पर आरोप लगाया कि वह किसानों को मुआवजा नहीं देना चाहती। केंद्र के पास प्रदर्शन में मारे गए किसानों का आंकड़ा नहीं है, तो प्रधानमंत्री मोदी ने अपनी गलती कैसे स्वीकार ली।

    कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने शुक्रवार को प्रेसवार्ता कर कहा कि कुछ दिन पहले संसद में आंदोलन में मृत 700 किसानों को मुआवजे को लेकर सवाल पूछा गया था, जिस पर सरकार ने जवाब दिया कि जब रिकॉर्ड ही नहीं है तो फिर मुआवजा कैसा।

    राहुल गांधी ने कहा कि कांग्रेस के पास जान गंवाने वाले 503 किसानों की सूची है, जबकि सरकार ने कहा है कि उसके पास ऐसा कोई आंकड़ा नहीं है। सरकार चाहे तो हमसे आंकड़ा ले सकती है और ऐसे परिवारों की मदद कर सकती है।

    कांग्रेस सांसद ने कहा हमने इस पर कुछ काम किया और पंजाब के करीब 500 किसानों की सूची सरकार को दे दी। पंजाब में इनके परिजनों को मुआवजा भी दे दिया गया है। पंजाब में 152 मृत किसानों के परिजनों को नौकरी भी दी गई है। राहुल ने सूची दिखाते हुए कहा कि इसमें फोन नम्बर भी हैं। पीएम चाहें तो फोन कर इनके यहां बात कर सकते हैं।

    राहुल ने कहा, “सरकार के पास मृत किसानों की सूची है, लेकिन मंशा नहीं। पीएम ने गलती मानी है, लेकिन उनकी इस गलती के चलते 700 किसानों की जान चली गई।”

    राहुल ने कहा कि लाखों लोग कोविड से मर गए, लेकिन सरकार के पास कोई रिकॉर्ड नहीं है। मुआवजा देना पंजाब सरकार की जिम्मेदारी नहीं थी लेकिन पंजाब में किसानों की मृत्यु के बाद पंजाब सरकार ने किसानों के मुआवजे का ऐलान किया।

    राहुल गांधी ने केंद्र पर आरोप लगाते हुए कहा, “देश में पैसे की कोई कमी नहीं है पेट्रोल-डीजल के माध्यम से केंद्र सरकार ने आम जनता से लाखों रुपए वसूले हैं। किसान, मजदूरों के लिए केंद्र सरकार के पास पैसे नहीं है लेकिन उद्योगपतियों की मदद के लिये सरकार के पास पैसे की कोई कमी नहीं है..।”

    राहुल गांधी ने कहा कि मुझे लगता है कि मानवता के आधार पर केंद्र सरकार को किसानों को यह मुआवजा देना चाहिए, जिसकी वह लगातार मांग कर रहे हैं।

  • प्रेस क्लब में बनी पत्रकारों के आंदोलन की रणनीति

    प्रेस क्लब में बनी पत्रकारों के आंदोलन की रणनीति

    मोदी सरकार के खिलाफ पत्रकार एकजुट हो रहे हैं। दिल्ली प्रेस क्लब में आज पत्रकार एकजुट हुए और संसद का घेराव करने के लिए सड़क पर उतरे। इस अवसर पर पत्रकारों ने मोदी सरकार के खिलाफ नारेबाजी करते हुए पत्रकारों की आवाज को बुलंद करने की बात कही। इस अवसर पर बड़े स्तर पर पत्रकारों ने अपनी बात रखी।

  • उठाएंगे मीडिया की आवाज़

    उठाएंगे मीडिया की आवाज़

    संसद के घेराव कार्यक्रम में पत्रकार मोदी सरकार पर आक्रामक रहे। इस अवसर पर पत्रकारों ने प्रदर्शन किया। प्रेस क्लब के महासचिव विनय कुमार ने मीडिया में होने वाले शोषण के खिलाफ भी आवाज उठाने की बात की

  • क्या सच में राकेश टिकैत को महिला पत्रकार ने छेड़ा?

    क्या सच में राकेश टिकैत को महिला पत्रकार ने छेड़ा?

    पत्रकार जगत में खुद के ढिंगे मारने वाले वाला रिपब्लिक भारत एक बार फिर अपनी बदतमीजियों को लेकर सुर्खियों में है। ये वीडियो बुधवार की है। जब किसान नेता राकेश टिकैत ने एक निजी चैनल को इंटरव्यू देने से इनकार कर दिया… तो रिपब्लिक भारत की महिला पत्रकार ने राकेश टिकैत के साथ कुछ ऐसा कर दिया

  • गाजीपुर बॉर्डर पर किसानों से बातचीत

    गाजीपुर बॉर्डर पर किसानों से बातचीत

    गाज़ीपुर बॉर्डर पर किसान आंदोलन में जब किसानों से बातचीत की गई तो उनका जज्बा और पीड़ा दोनो दिखाई दिए |

  • मांगें पूरी होते ही लौट जायेंगे घर

    मांगें पूरी होते ही लौट जायेंगे घर

    खास बातचीत में भाकियू प्रवक्ता राकेश टिकैत ने कहा कि सरकार जिस दिन चाहेगी उस दिन आंदोलन खत्म हो जाएगा। बस हमारी मांगें मान ली जाएं। मांगें पूरी होते ही लौट जायेंगे घर

  • पीएम मोदी किसानों के प्रति प्रतिबद्ध हैं और रहेंगे : केंद्रीय कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर

    पीएम मोदी किसानों के प्रति प्रतिबद्ध हैं और रहेंगे : केंद्रीय कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर

    नई दिल्ली, मंगलवार को लोक सभा की कार्यवाही शुरू होते ही विरोधी दलों ने राज्य सभा सांसदों के निलंबन के मसले पर हंगामा करना शुरू कर दिया।

    हंगामे के बीच स्पीकर ने प्रश्नकाल चलाने की कोशिश की। लोक सभा अध्यक्ष ओम बिरला ने हंगामा करने वाले सांसदों पर नाराजगी जताते हुए सांसदों से प्रश्नकाल चलने देने की अपील की। लेकिन विरोधी दलों का हंगामा जारी रहा और इसे देखते हुए लोकसभा स्पीकर ओम बिरला ने सदन की कार्यवाही को दोपहर 2 बजे तक के लिए स्थगित कर दिया।

    सदन स्थगित होने के बाद मीडिया से बात करते हुए कांग्रेस नेता अधीर रंजन चौधरी ने कहा कि राज्य सभा सांसदों के निलंबन के खिलाफ कांग्रेस और अन्य विरोधी दलों ने लोकसभा से वाकआउट किया है।