चरण सिंह
पंजाब में कांग्रेस आप की सरकार गिराए या न गिराए पर इतना तो तय है कि दिल्ली की तर्ज पर आप को हराने में जरूर लग गई है। दिल्ली में भले ही बीजेपी की सरकार न आई हो भले ही कांग्रेस की एक भी सीट न आई हो पर वह दिल्ली में अपनी जीत मानकर चल रही है। इसकी बड़ी वजह यह है कि अरविन्द केजरीवाल कांग्रेस के बारे में पत्रकारों से यह कहने लगे थे कि कांग्रेस को तो जनता नहीं भी गंभीरता से लेना बंद कर दिया है। कुछ पत्रकार कांग्रेस का नाम लेते हैं। कांग्रेस को गुस्सा इस बात को लेकर है कि दिल्ली और पंजाब दोनों ही जगह आप ने कांग्रेस के वोट बैंक पर अपनी सरकार बनाई है। अब कांग्रेस ने रणनीति बना ली है कि आप के साथ हाथ नहीं मिलाएगी। अगला टारगेट कांग्रेस का पंजाब है।
कांग्रेस पंजाब में आप को सत्ता से बेदखल कर खुद सत्ता कब्जाने में लग गई है। ऐसे में प्रताप सिंह बाजवा ने नहीं कहा है कि आप के 25-30 विधायक उनके संपर्क में हैं। दरअसल पंजाब के विधायकों को गुस्सा इस बात को लेकर है कि विधायक पंजाब के हैं और राज्यसभा सांसद दिल्ली का बना दिया गया।
दरअसल पंजाब में 117 सीटों पर चुनाव होता है। 2022 के विधानसभा चुनाव में आप ने 92, कांग्रेस ने 18 तो शिरोमणि अकाली दल ने 3 सीटें जीती थी। यदि 30 विधायक कांग्रेस के साथ मिल भी जाते हैं तब भी आप की सरकार नहीं गिरने आ रही है। हां यह जरूर हो सकता है कि आप के किसी नेता को आगे कर आप को तोड़कर अलग पार्टी बनवाई जा सकती है। ऐसे में जैसे दिल्ली में कांग्रेस ने बीजेपी की मदद की है वैसे ही पंजाब में बीजेपी कांग्रेस की मदद कर सकती है। वैसे भी यह माना जा रहा है कि यदि दिल्ली में आप की सरकार बन जाती तो गैर बीजेपी और गैर कांग्रेस तीसरा मोर्चा बन सकता था। यह बात बीजेपी और कांग्रेस भी समझती है।
बीजेपी भी जाएगी कि पंजाब का चुनाव आप के शासन काल में न हो। हालांकि पंजाब के मुख्यमंत्री भगवत मान ने कांग्रेस पर पलटवार कर कहा है कि पहले कांग्रेस अपने विधायक तो गिन ले। दरअसल पंजाब में खेल होने का अंदेशा इस बात को लेकर लग रहा है कि आप संयोजक ने केवल पंजाब के मुख्यमंत्री भगवत मान बल्कि पंजाब के विधायक और मंत्री भी तलब किये थे। दिल्ली के कपूरथला हाउस में मीटिंग की। हालांकि आप की ओर से 2027 के विधानसभा चुनाव को लेकर इस मीटिंग को बुलाने की बात सामने आ रही है। पर दिल्ली के बाद अब आप के लिए पंजाब पर भी खतरा है।
दरअसल दिल्ली विधानसभा चुनाव में आम आदमी पार्टी की हार के बाद पंजाब में सियासी सरगर्मी बढ़ी हुई है। इसकी एक बड़ी वजह कांग्रेस का दावा है। कांग्रेस के प्रतिपक्ष नेता प्रताप सिंह बाजवा का कहना है कि सत्तारूढ़ आप के कई विधायक हमारे संपर्क में हैं।
उधर सांसद गुरजीत औजला ने भी कह दिया है कि आप के कई विधायक कांग्रेस के संपर्क में हैं। इनके 25 से 30 विधायक टच में हैं। आप के विधायक साथ आए तो कांग्रेस सरकार बनाएगी। मंथन दिल्ली पर करना चाहिए था, पंजाब वालों को क्यों बुलाया?’