बिहार भूमि सर्वे के लिए ‘नीतीश के नवरत्न’ उतरे मैदान में, एक नजर में नाप देंगे ‘भ्रष्टाचार की यमुना’

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 पटना। बिहार में अंचल कार्यालयों में हो रहे भ्रष्टाचार की शिकायतों के बाद, राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग ने बड़ा एक्शन लिया है। अक्टूबर में 23 जिलों के अंचल कार्यालयों का निरीक्षण किया जाएगा। इसके लिए 9 अधिकारियों को जिम्मेदारी सौंपी गई है। यही नवरत्न अंचल कार्यालयों में भ्रष्टाचार के आरोपों को ध्यान में रखते हुए सब कुछ एकदम पारदर्शी तरीके से नापेंगे। मतलब ये कि इन 9 अफसरों की नजर से कुछ नहीं बचेगा।
राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग के सचिव जय सिंह ने एक स्थानीय अखबार को बताया कि अंचल कार्यालयों में हो रहे कामकाज की समीक्षा की जाएगी। आम लोगों को हो रही परेशानियों को दूर करना उद्देश्य है। इस निरीक्षण से जमीन सर्वे, दाखिल-खारिज जैसे जरूरी कामों में तेजी आएगी। मुख्य सचिव के निर्देश पर यह फैसला लिया गया है। सभी 23 जिलों के डीएम को पत्र लिखकर इस बारे में सूचित कर दिया गया है। निरीक्षण के लिए अधिकारियों की लिस्ट भी डीएम को भेज दी गई है।
पटना, बांका, सुपौल, बक्सर, गया, लखीसराय, पूर्वी चंपारण, गोपालगंज, मधुबनी, रोहतास, सारण, कटिहार, शिवहर, पश्चिमी चंपारण, अररिया, सहरसा, नवादा, शेखपुरा, समस्तीपुर, सीतामढ़ी, दरभंगा, औरंगाबाद और भागलपुर जिलों के अंचल कार्यालयों का निरीक्षण किया जाएगा।
निरीक्षण के दौरान कई महत्वपूर्ण पहलुओं पर गौर किया जाएगा। बिहार विशेष सर्वेक्षण से संबंधित ऑनलाइन दाखिल-खारिज, भू-लगान, भूमि हस्तांतरण, बंदोबस्ती, जल निकाय अतिक्रमण, उच्च न्यायालय में लंबित वाद, सेवांत लाभ, जनशिकायत, बसेरा, जमाबंदी स्कैनिंग, ई-मापी जैसे मामलों में आम लोगों को हो रही परेशानियों का समाधान निकाला जाएगा। राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग का यह कदम अंचल कार्यालयों में पारदर्शिता और जवाबदेही लाने में मददगार साबित होगा। इससे आम लोगों को काफी राहत मिलेगी।

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