जान देने कूदी थी कुएं में, सात दिनों के बाद जीवित निकली बाहर

 कराहने की आवाज सुनकर ग्रामीणों ने बचाई जान

 सारण। सारण जिले के मोहम्मदपुर गांव से एक हैरान करने वाली खबर आयी है. मोहम्मदपुर गांव में एक महिला ने आत्महत्या करने के लिए कुएं में छलांग लगा दी. महिला सात दिनों तक कुएं में फंसी रही. सात दिन बाद ग्रामीणों को पता चला तो गांववालों ने महिला को कुएं से जिंदा बाहर निकाला. सात दिनों तक बिना कुछ खाए-पीए कीचड़ भरे में फंसी आखिरकार महिला ने मौत को परास्त कर जिंदगी की जंग जीत ली.
मोहम्मदपुर गांव की एक महिला का पता सात दिनों से नहीं चल रहा था. कुएं में जान देने कूदी थी,सात दिनों बाद सकुशल बाहर निकाली गई. स्थानीय लोगों ने बताया कि जब बच्चे दोपहर में बांस काटने बघार गए थे. इसी बीच उनको कुएं से कराहने की आवाज सुनाई दी.
आवाज सुनकर बच्चे डर गए और भागकर अपने घर पहुँचे और घरवालों को कुएं से आवाज आने की बात बताई. जानकारी मिलने के बाद दर्जनों ग्रामीण एकसाथ वहां पहुँचे. उन्होंने कुएं में टॉर्च जला कर देखा तो कहानी खुल कर लोगों के सामने आई. कुएं में गांव की वहीं लापता महिला थी जो सात दिन से गायब थी. ग्रामीणों ने जुगत लगाकर महिला को कुएं से बाहर निकाला. महिला जीवित थी लेकिन भुख से काफी कमजोर हो गई है. गांव के लोगों ने महिला को उसके मायके वालों के हवाले कर दिया. महिला के मायके वाले उसका इलाज करा रहे हैं.
महिला को एक पुत्र है, जो कहीं बाहर रहकर पढ़ाई करता है. वहीं महिला के लापता होने के बाद से उसका पति फरार बताया जा रहा है. 50 वर्षीय मीरा देवी महम्मदपुर गांव निवासी अमरनाथ मिश्रा की पत्नी है. पीड़ित महिला ने बताया कि उसका पति बात-बात में उसकी पिटाई कर देता था. पिटाई से तंग आकर उसने खुदकुशी का निर्णय कर लिया, वो शाम में घर से बाहर निकली और बघार के कुएं में कूद गई. उस कुएं में पानी नही था,इस कारण वो नीचे कीचड़ में धंस गई.
सात दिन जिंदगी और मौत के बीच लड़ाई लड़ती रही.कुंए में मौजूद सांप और बिच्छु उसके संगी साथी बन गए थे. महिला ने बताया कि दो सांप थे जो इशारा करने पर अपना रास्ता बदल लेते थे. फिर भी काफी डर लगता था,लेकिन हार नहीं मानी. रात में उसे नींद भी आती थी लेकिन… सच हीं कहा गया है जाको राखे साइंया मार सके न कोय.

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