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भागलपुर शहर के बीचोबीच चल रहा था कॉल सेंटर

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 पुलिस जब वहां पहुंची तो लड़कियों के कारनामे ने किया हैरान

 भागलपुर। पुलिस ने साइबर क्राइम के एक अंतरराज्यीय संगठित गिरोह का पर्दाफाश किया है, जो कोचिंग सेंटर से पार्ट टाइम जॉब का लालच देकर लड़कियों से साइबर ठगी करवाता था। इस मामले में पुलिस ने 10 लोगों को गिरफ्तार किया है, जिनमें अधिकतर आरोपी पश्चिम बंगाल से हैं। गिरोह का कॉल सेंटर भागलपुर शहर के बीचों-बीच स्थित था, जहां बाहरी लोगों के प्रवेश पर सख्त पाबंदी थी और इसे हाई-लेवल सिक्योरिटी के साथ चलाया जा रहा था।
वहीं इस कॉल सेंटर के गिरोह अलग-अलग ऑनलाइल प्लेटफॉर्म शॉपिंग करने वाले ग्राहकों को निशाना बनाता था। भागलपुर स्थित कॉल सेंटर से लड़कियां कॉल करके खुद को कंपनी की कर्मचारी बताती थीं और ग्राहकों से उनकी तरफ से खरीदे गए सामान के बारे में पूछताछ करती थी।
ग्राहकों को संतुष्ट देखकर, उन्हें गिफ्ट देने का प्रलोभन दिया जाता था। जैसे ही ग्राहक गिफ्ट लेने के लिए सहमति जताते थे, कॉल को सीनियर कॉलर (जो बंगाल की लड़की होती थी) को ट्रांसफर कर दिया जाता था, जो आईफोन, टीवी जैसी महंगी चीजें गिफ्ट में देने का झांसा देती थी।
मामले का खुलासा तब हुआ जब 19 अक्टूबर 2024 को भागलपुर साइबर थाना की टीम ने प्रतिबिंब पोर्टल की निगरानी के दौरान एक संदिग्ध मोबाइल नंबर (+917595824734) का पता पता चला, जिसके खिलाफ 2,69,604 रुपये की साइबर धोखाधड़ी से संबंधित चार शिकायतें दर्ज थी।
इसके बाद SSP आनंद कुमार के निर्देशन पर एक विशेष टीम का गठन किया गया, जिसने बरारी थाना अंतर्गत मनाली चौक के पास स्थित फर्जी सेल्स एडवरटाइजमेंट सेंटर पर छापेमारी की।
इस छापेमारी में 9 लोगों को गिरफ्तार किया गया और कई अवैध दस्तावेज और उपकरण बरामद किए गए। इसके बाद, 23 अक्टूबर को मास्टरमाइंड राहुल उर्फ जीशान अली की निशानदेही पर झारखंड के जामताड़ा से आदित्य कुमार को भी गिरफ्तार किया गया।
जांच से पता चला कि इस गिरोह का नेटवर्क पूरे देश में फैला हुआ है, और यह गिरोह महीनों में करीब 50 लाख रुपये से अधिक की साइबर ठगी करता है। गिरोह के सदस्यों की सैलरी भी अलग-अलग निर्धारित थी। भागलपुर की लड़कियों को 6-7 हजार रुपये दिए जाते थे, जबकि बंगाल और अन्य शहरों से आए लड़के-लड़कियों को अधिक वेतन मिलता था।
वहीं इस मामले में पकड़े गए आरोपियों से पूछताछ के दौरान पुलिस को हैरान कर देने वाली जानकारी मिली कि देशभर में इस तरह के करीब दो हजार से अधिक कॉल सेंटर चल रहे हैं, जहां से लोगों को ठगा जा रहा है और उनके बैंक खातों से पैसे निकाल लिए जा रहे हैं।
पुलिस की ओर से बरामद सामानों में 38 मोबाइल फोन, 44 सिम कार्ड, 34 एटीएम कार्ड, 14 चेकबुक, 3 पासबुक, 3 बाइक (एक बुलेट, एक पल्सर और एक स्कूटी), 73,500 रुपये नगद, सोने के आभूषण और एक लैपटॉप बरामद किए हैं। पुलिस को गिरोह के पास से एक रजिस्टर भी मिला है जिसमें साइबर धोखाधड़ी से संबंधित लेख दर्ज है।
गिरफ्तार अभियुक्तों में जीशान अली उर्फ राहुल, मो. छोटू, मो. महताब अली, आदित्य कुमार, निधि बाल्मिकी, विधि बाल्मिकी, प्रियंका कौर, निंदन कौर, कृतिका विश्वकर्मा और लक्ष्मी ठाकुर शामिल हैं। पुलिस इस मामले की आगे की जांच कर रही है और गिरोह के अन्य सदस्यों की तलाश जारी है। यह सारी जानकारी सिटी एसपी डॉ के रामदास ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर दी।