सोच को बदलो सितारे बदल जाएंगे।
नज़र के बदलो नज़ारे बदल जाएंगे॥
कश्तियाँ बदलने की कोई जरुरत नहीं ।
दिशाओं को बदलो किनारे बदल जायेंगे॥
सोच को बदला और अपनी तक़दीर बदल लो।यह कहावत सच है कि अच्छी सोच तक़दीर बदल सकती है। अगर हम सकारात्मक और आशावादी सोच रखते हैं, तो हमारे जीवन में सकारात्मक बदलाव आ सकते हैं। ऐसा इसलिए है क्योंकि हमारी सोच हमारे कार्यों और निर्णयों को प्रभावित करती है, जो अंततः हमारे जीवन को आकार देते हैं।नकारात्मक सोच को त्यागें:। नकारात्मकता हमें आगे बढ़ने से रोकती है और हमारी तक़दीर को नकारात्मक रूप से प्रभावित करती है। नकारात्मक विचारों को सकारात्मक विचारों से बदलें। लक्ष्य निर्धारित करें:। यदि आपके पास लक्ष्य हैं, तो आप उनकी ओर बढ़ने के लिए प्रेरित होंगे। अपने लक्ष्यों पर ध्यान केंद्रित करें और उन्हें प्राप्त करने के लिए कड़ी मेहनत करें। सकारात्मक रहें:-सकारात्मक सोच हमें मुश्किलों से पार पाने और चुनौतियों का सामना करने में मदद करती है। सकारात्मक दृष्टिकोण हमें सफलता की ओर ले जाता है। मजबूत इच्छाशक्ति रखें:-यदि आपके पास दृढ़ इच्छाशक्ति है, तो आप अपने लक्ष्यों को प्राप्त करने के लिए कुछ भी कर सकते हैं। अपनी इच्छाशक्ति को मजबूत करें और अपने लक्ष्यों पर ध्यान केंद्रित करें। सकारात्मक लोगों के साथ रहें:- सकारात्मक लोगों के साथ रहने से आपकी सोच और दृष्टिकोण सकारात्मक होते हैं। नकारात्मक लोगों से दूरी बनाए रखें। इन तरीकों का पालन करके, आप अपनी सोच को सकारात्मक बना सकते हैं और अपनी तक़दीर बदल सकते हैं।सोच बदलो, जिंदगी बदल जाएगी” का अर्थ है कि अगर आप अपनी सोच बदल देते हैं, तो आपकी जिंदगी भी बदल जाएगी। यह एक प्रेरणादायक वाक्यांश है जो हमें अपनी सोच को सकारात्मक और प्रभावी बनाने के लिए प्रेरित करता है। सकारात्मक सोच जीवन में सफलता, खुशी और संतुष्टि लाने में मदद करती है। जब आप सकारात्मक होते हैं, तो आप जीवन के प्रति अधिक आशावादी और खुश रहते हैं।सकारात्मक सोच आपको जीवन में अधिक संतुष्ट और खुश महसूस करने में मदद करती है।सकारात्मक सोच आपको दूसरों के साथ बेहतर संबंध बनाने में मदद करती है।जब आप सकारात्मक होते हैं, तो आप अपने आप पर अधिक विश्वास करते हैं और अपने लक्ष्यों को प्राप्त करने के लिए अधिक प्रेरित होते हैं। अपने दिमाग में नकारात्मक विचारों को दूर करने और सकारात्मक विचारों को प्रोत्साहित करने का अभ्यास करें।सोच बदलो, जिंदगी बदल जाएगी” एक शक्तिशाली वाक्यांश है जो हमें अपनी सोच को बदलने और एक बेहतर जीवन जीने के लिए प्रेरित करता है। सकारात्मक सोच जीवन में सफलता, खुशी और संतुष्टि लाने में मदद करती है। इस छोटी सी ज़िंदगी में ख्वाहिशें बहूत है। जुर्म पता नहीं पर इल्ज़ाम बहुत है ।हज़ारों वर्षों से लोग एक बहुत आम सवाल पूछते आ रहे हैं कि क्या हमारी क़िस्मत यानि भाग्य पहले से तय है या हम इसे बदल सकते हैं? हम अपने भाग्य को केवल मात्र अपनी अच्छी सोच से ही बदल सकते हैं ।जब भी हम अपने जीवन में किसी कठिन परिस्थिति का सामना करते हैं, तो हम अक्सर सोचते हैं कि क्या यह हमारे पिछले जन्म के कर्मों का परिणाम है? और हम यह भी सोचते हैं कि क्या हमारे पिछले जन्मों के इन नकारात्मक कर्मों का प्रभाव को हमारे वर्तमान जीवन पर न पड़ने से रोका जा सकता है? तो, हमें क्या करना चाहिए और कहां से शुरू करना चाहिए? इसके लिए सबसे पहले हमें अपने विचार को बदलना पड़ेगा और अपनी सोच को बदलना पड़ेगा ।सबसे पहले, हमें बहुत गहराई से समझने की आवश्यकता है कि सभी मनुष्यों ने अपने अलग-अलग जन्मों में कुछ नकारात्मक कर्म और साथ ही साथ कुछ सकारात्मक कर्म भी किए हैं। लेकिन एक बहुत महत्वपूर्ण बिंदु है कि कुछ आत्माओं ने कम ग़लत कर्म किए हैं, और कुछ ने अधिक किए हैं। तो, इसके परिणामस्वरूप, आज दुनिया में हर कोई अपने जीवन में किसी न किसी नकारात्मक परिस्थिति का सामना कर रहा है। दुनिया में एक सामान्य धारणा है कि भगवान हमारा भाग्य बनाते हैं और हमारे जीवन में जो भी कुछ अच्छा या बुरा होता है वो भगवान द्वारा तय किया जाता है। लेकिन भगवान द्वारा दी गई आध्यात्मिक समझ के अनुसार, यह एक सही धारणा नहीं है। वे हमारे जीवन की परिस्थितियों का निर्णय नहीं करते हैं। जब भी हमारे जीवन में कुछ अच्छा होता है, तो यह हमेशा हमारे पिछले अच्छे कर्मों का परिणाम होता है, साथ ही साथ कुछ विशेष परिस्थितियों में परमात्मा की मदद होती है, लेकिन सभी में नहीं। दूसरी ओर, जब भी हमारे जीवन में कुछ नकारात्मक होता है, तो यह केवल हमारे पिछले गलत कर्मों का परिणाम होता है। परमात्मा हमें हमारे नकारात्मक कर्मों के लिए दंडित नहीं करते हैं। इसके लिए हमें अच्छी सोच रखनी चाहिए। जिसकी सोच अच्छी है, जिसके विचार अच्छे हैं, उसकी तक़दीर भी अच्छी है।जितनी ज्यादा बड़ी आपकी सोच होगी, जीवन में आपको कामयाबी भी उतनी ही बड़ी मिलेगी।*
ऊषा शुक्ला