उनका कहना था कि आपके प्रतिबंधों का क्या फायदा। पुतिन और उसके लोग आराम से लंदन में ऐश कर रहे हैं। हमारे बच्चे, औरतें और लोग पुतिन से जूझ रहे हैं।
द न्यूज 15
लंदन (एजेंसी) । रूस के हमले की आशंका के बीच अमेरिकी और पश्चिमी देश व्लादिमिर पुतिन तो केवल धमकियां ही देते रहे। उनकी मंशा कभी भी सैन्य सहयोग प्रदान करने की नहीं थी। उनके रवैये को लेकर यूक्रेन के बेबस लोगों में अब गुस्सा भी उफान मारने लगा है। ब्रिटिश पीएम बोरिस जानसन की मीडिया ब्रीफिंग में ऐसा ही एक नजारा देखने को मिला। जानसन को एक महिला पत्रकार ने लाइव कांफ्रेंस में जमकर खरीखोटी सुना डालीं।
दरअसल, ब्रिटिश प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन की प्रेस कॉन्फ्रेंस में महिला पत्रकार डारिया कालेनियुक ने यूक्रेन की बर्बादी को लेकर गंभीर सवाल पूछे। अपने देश की ताजा स्थिति बताते हुए महिला पत्रकार रोने भी लगीं। कांफ्रेंस के वीडियो में साफ दिख रहा है कि उसकी मार्मिक अपील पर जानसन भी स्तब्ध रह गए। कुछ देर के लिए वो कुछ बोल तक नहीं सके। वो चुपचाप महिला की बात सुनते रहे। ये वीडियो अब वायरल हो रहा है।
यूक्रेन के संकट का हवाला दे महिला पत्रकार ने जानसन को बुरी तरह से झिंझोड़ा। ध्यान रहे कि सात दिन से चल रही लड़ाई से हालात खराब होते जा रहे हैं लेकिन अमेरिका और उसके सहयोगी नाटो के साथ तमाम देश केवल जुबानी जमाखर्च में जुटे हैं। वो रूस पर प्रतिबंध थोपकर अपनी पीठ थपथपाने में लगे हैं जबकि दुनिया के सामने आए इस अभूतपूर्व संकट को लेकर उन्हें सक्रिय सैन्य सहायता करने की जरूरत थी। सारे देश सेना भेजने से इनकार कर रहे हैं।
महिला पत्रकार ने बोरिस जानसन से कहा कि यूक्रेन के लोग रो रहे हैं। उन्हें नहीं पता कि वो सकहां जाएं। दूसरी तरफ अमेरिका और पश्चिमी देश चुपचाप होकर बैठ गए हैं। सभी को डर है कि कहीं तीसरा विश्व युद्ध न शुरू हो जाए। पत्रकार का कहना था कि आप लोगों को अपनी जिम्मेदारी समझनी होती। रूस के सामने हमें यूं ही निरीह करके नहीं छोड़ा जा सकता। उनका कहना था कि आपके प्रतिबंधों का क्या फायदा। पुतिन और उसके लोग आराम से लंदन में ऐश कर रहे हैं। उन पर कोई फर्क नहीं पड़ रहा। झेल तो हमारे लोग रहे हैं। हमारे बच्चे, औरतें और लोग पुतिन से जूझ रहे हैं। ब्रिटिश पीएम जॉनसन ने पत्रकार की पूरी बात सुनने के बाद कहा कि वो लगातार रूसी कार्रवाई के हालातों से अपडेट हो रहे हैं लेकिन यह संकट ऐसा नहीं है कि ब्रिटेन इसे सैन्य माध्यमों से हल कर सके।
उधर, रूसी हमलों से मुकाबले के लिए यूक्रेन के लोग जीजान से डटे हुए हैं। माता-पिता अपने बच्चों को बाहर भेजकर खुद को देश की सुरक्षा के लिए समर्पित कर रहे हैं। यूक्रेन की सरकार ने युवाओं से सेना में शामिल होने की अपील की है। खबर है कि हजारों यूक्रेनी नागरिकों को हथियारों से लैस कर सेना की सहायता के लिए तैनात किया गया है। इससे पहले यूक्रेनी राष्ट्रपति जेलेंस्की के यूरोपीय संसद में भाषण के दौरान जर्मन ट्रांसलेटर आहत होकर कार्यक्रम के बीच में ही रोने लगी थी।